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महाराष्ट्र : ठाणे, मीरा भयंदर महानगरपालिका, टैक्स भरे जनता माल काटे अधिकारी मलाई खाए ठेकेदार, नीचे दिए गए फोटो में आप मीरा भयंदर महानगर पालिका द्वारा लाखों रुपए खर्च कर जनता के पैसे से ठेकेदार और अधिकारी कमीशन खोरी कर लागत मूल्य से अधिक रुपयों का संसाधन जनता के लिए कम अपने लिए ज्यादा करने में दिन रात लगे रहते हैं। तकरीबन 1 महीने से मैं देख रहा हूं कि गोल्डन  नेस्ट सर्कल पर लाखों रुपए खर्च कर हाई मास्क लाइट लगाया गया है जिसमें 13 में से सात लाइटें बंद है तथा उसी के बगल में नया नगर जाने वाले रास्ते पर हाई मास्क लगभग सभी लाइटें बंद है वहां से लेकर मैक्सिस मॉल ब्रिज के ऊपर हर अल्टरनेटिव लाइट बंद है मैक्सिस मॉल सर्कल का सिग्नल भी गरीबन दो ढाई महीने से यही हाल है इस सर्कल से सिग्नल से लेकर सुभाष चंद्र मैदान तक रास्ते में पड़ने वाले अल्टरनेटिव लाइट ज्यादातर बंद ही रहती है। किसी को कोई पडी नहीं है यह देख कर बहुत कष्ट होता है। गोल्डन में सर्कल काशीमीरा आते समय दीपक हॉस्पिटल सर्कल पर भी सिग्नल लाइट काफी दिनों से बंद पड़ा है अब सवाल बंद चालू का नहीं है मीरा भाईंदर महानगरपालिका ...

निर्मल एम एम आर पंप घोटाला ( स्वछता के नाम पर अधिकारिओ की ठगी )

    
     निर्मल एम एम आर पंप घोटाला 

     मीरा भायंदर महानगर पालिका :

मै संतोष कुमार तिवारी सुचना अधिकार कार्यकर्ता हमने दिनांक 17 जनवरी 2019 को माहिती अधिकार 2005 का उपयोग करते हुए मिरा भायंदर महानगर पालिका के हद मे शौचालयो मे पानी के लिए खरिदे गये वाटर पंप कि विस्तृत जानकारिया मांगी थी।हमे मनपा के सांबा विभाग के पत्र जावक क्रमांक मनपा ्साबा ्रमाअ्र 61्र 2018 19 दिनांक 2 फरवरी 2019 के माध्यम से 1 से 296 पन्नो मे जानकारियॉ प्राप्त हुई। हमे मालुम पडा कि “निर्मल एम एम आर अभियान” के तहत उपरोक्त पंपो का व्यवहार किया गया था ।
दिंनाक 8 सितंबर 2015 को विध्युत विभाग के पत्र को माननिय आयुक्त महोदय ने प्रशासनीक व आर्थिक मान्यता लेने हेतु 29 सितंबर को आदेश दे दिये थे। मनपा के ठराव क्रमांक 71 दिनांक 15 अक्टुंबर 2015 को आर्थिक व प्रशासकीय मान्यता दिया गया था। जिसमे ……………                                                                          
“मिरा भायंदर महानगरपालिका क्षेत्रात र्निमल एमएम आरअभियान अंर्तगत विविध परिसरात तसेच झोपडपटी विभागात शांैचालये बांधण्यात आलेली आहेत सदर शौचालयाचा उपयोग परिसरातील रहिवासी करत असुन त्याची देखभाल व देरूस्ती महानगर पालिका मार्फत करण्यात येते।सदर काामी ठेकेदार नियुक्त केलेला आहेत।त्यांचाकडुन सदर शौचालयाची नियमीत देखभाल करणेची काामे केली जातात।सदर कामे करणेसाठी संबधित ठेकेदारांनी त्यांचे कार्मचारी देखील नियुक्त केलेले आहेत।त्यांचाकडुन सदर शौचालयातील मौला व इतर साथसफाईचा पाण्याचा वपर करून साफ करण्यात येताता।तथापी उच्च न्यायलयाने दिलेला निर्णयानुसार सदरचा मैल गताने पाणी टाकुन साफ न करता प्रेशर पंप लावून साफ करण्यात यावा।जेणेकरून सदर ठिकाणी साफसफाई करण्याचे काम करण्यांच्या मनावर विपरीत परिणाम न होता रोगराई देखील पसरणार नाही यांची देखील खबरदारी घेण्यात यावी।तसेच शासणातर्फे राबविण्यात येणाया “स्वच्छ भारत अभियान” अर्तगत देखील सदर कामी केलेल्या कार्यवाहीचा अहवाल शासनास कळविणे बंधनकारक आहे।
तरी वरील सर्व बाबींचा विचार करता कामी प्रत्यक्ष जागेवर पहाणी करून खालील प्रमाणे अंदाजपत्रक तयार करण्यात आलेले आहे त्यानुसार मिरा भायंदर महानगरपालिका क्षेत्रात निर्मल एमएम आर अर्तगत विविध ठिकाणाच्या वस्ती स्वछतागृहांमध्ये प्रेशर पंप बसविणे व इतर आवश्यक कामे करणे कामी रू 8636886   इतका खर्च अपेक्षीत आहे सदर कामी “शौचालय्र मुताया्र मोबाईल टॉयलेट” या लेखाशिर्षखाली रू 8920298 एवढी तरदुद उपलब्ध आहे वरील कामाच्या अंदाजपत्रकाला प्रशासकिय मान्यता देण्यात येत आहे।

इससप पुर्व मनपा विध्युत विभाग के कनिष्ट अभिय्ांता तथा उपअभिंयंता तथा एक्हाुकेटीव अभियंता ने सदर काम हेतु ृएफःछश्ृ्र201र्32014्रश्र्ल्एच्तरचिलर््द्धन्ग् िइस पत्र मे सदर काम मे लगने वाले साहित्य तथा उसकि संखया सहित कुल 11 आईटमो हेतु मंजुरी ले रखी थी तथा सीटी इजिनर ने 16 अक्टुंबर को इसपर हस्ताक्षर कर फायनल मोहर लगा दी थी।                                        

तथा कनिष्ट अभियंता तथा उपअभिय्ांता ने मिलकर इसकार्य मे लगने वाले कुल 11 सहित्यो कि संख्याओ को निश्चित कि गई परंतु इस पत्र पर दोनो के अलावा अन्य किसी अधिकारी के हस्ताक्षर व दिनांक नही है।                                                                      
 19 अक्टुंबर 2015 को इस काम हेतु ई टेंडर दै हमारा महानगर ्रमूबई मित्र समाचर पत्रो मे प्रसिद्व कर निवीदा ई टे्डर क्रमांक 23340 ंण्प््रप्द्वड्र263्र06्र201र्516  दिनांक 20 नब्हेंबर 2015 13ः26 मिनट पर यह निवीदा खोली गई जिसमे 1 अदित्या इलेक्टिकल्स 2 शेखर  इलेक्टिकल्स  3 ए के इलेक्टिकल्स  ने निवीदा भरा तथा मनपा ने कम दाम होने के कारण से मंगाई गई।                       

तथा मा आयुक्त महोदय से मंजुरी दिनांक 30 नब्हेंबर 2015 तथा स्थाई समीती से ठराव क्रमांक 124 दिनांक 8 जनवरी 2016 को मान्यता लेते हुए शेखर इलेक्टिकल्स को कार्यदेश  क्रमांक मनपा ्रसांबा्र कार्या ्र629्र 2015 16 दिंनांक 9 फरवरी 2016 के पत्र के माध्यम से तिन दिन के अंदर काम शुरू करने तथा चार माह के अंदर कार्य समाप्त 8 जुन 2016 तक करने को कहा गया।                                                          
                                                                    
उपरोक्त विषय के काम को लेकर मनपा आायुक्त तथा शेखर इलेक्टिकल्स के बिच 9 फरवरी 2016 को करारानामा पर हस्ताक्षर भी हो जाता है परंतु यहा करारानामा पर पैसा तथा क्या काम करना है आदि का कोई जिक्र विस्तृत मे नही लिखा गया है तथा यह गुमराह करने वाले दस्तावेज है। 

9 फरवरी 2016 को शेखर इलेक्टिकल्स ने संपुर्ण कार्य 4 माह के बजाय एक माह मे ही करते हुए मिरा भायंदर के एक्जुटिव इंजिनियर को अपना कार्य समाप्त कर लिया तथा हमे हमारा फायनल बिल का भुगतान जल्द से जल्द करवाने हेतु अपने लेटर हेड पर पत्र दिया जाता है।               

9 फरवरी 2016 को उसी दिन कनिष्ठ अभियंता उपअभियंता एक्जुटिव अभियंता तथा शहर अभियंता सभी मिलकर एक साथ कांन्ट्रेक्टर बिल पर हस्ताक्षर कर देते है यहा भी किसी अधिकारीयो के हस्ताक्षर पर दिनांक मुद्र्रित नही है ।                                                      

माननीय एक्जुटिव इंजिनियर द्ववारा कंपलीशन सार्टिफिकेट भी शेखर इलेक्टिकल्स को दे दिया जाता है तथा इस पत्र मे कोई दिनांक अंकित नही है कि यह पत्र कब तथा किस पत्र क्रमांक से दिया गया है एैसा पत्र जारी करना भी संदेह के घेरे मे है तथा एक्जुटिव इंजिनियर पर प्रश्नचिन्ह लगाता है। 

जब  हमने एक्सेस स्टेटमेन्ट कि प्रत देखा तो पता चला कि अंको का हेरफेर कर समानो कि संख्या मे हेराफेरी कर टोटल को मिला कर मनपा को 443 रूपये बचत मे दिखाया गया है। तथा साथ ही 120 मोटर पंप के बजाय 70 पंप ही मनपा क्षेत्र मे लगाये गये है। पहले 360 प्र   ैशरगन कि अप्रुवल लेकर कि  210 लगाकर हिसाब किताब बराबर किया गया है।अब हम आपको गौर करने वाली बात बताते है “पंप मे दो फंडा होता है एक तरफ से पानी आता है और दुसरी तरफ से निकालता है जब 70 ही पंप लगाये गये तो 70 ही आऊटलेट पर ही हाई प्रेशर गन लगाये जायेगे।” उसी तरह एमसीबी व एलसीबी तथा 120 मोटर पंप को बैठाने मे लगने वाले सहित्य के हिसाब से उनकि संख्या निर्धारित कि गई थी परंतु जब 70 ही पंप बैठाये गये तो 50 पंपो मे लगने वाले सामन तथा लागत मुल्य कम ना दिखाकर मिलकर ठेकेदार शेखर इलेक्टिकल्स के साथ सभी अधिकारीयो ने मनपा के कोष को चुना लगाया है।
आपके जानकारी हेतु यहा यह बताना चाहुगा मिराभायंदर महानगरपालिका मे अनेक वर्षो से यहा पैर जमाये अधिकारीयो ने यहा भ्रष्टाचार कि सारी सीमाये लांघे हुए है कई कई वर्षो से इनका यहा से तबादला तक नही हुआ है तथा यह सभी स्वंय कि फर्जी कंपनिया खोल कर सिर्फ कागजो मे ही कार्य अंजम देते आ रहे है।तथा कई अधिकारी लाचलुपत विभाग के हथ्थे भी चढे हुए है।
इसी क्रम मे श्री प्रशांत जानकर कनिष्ठ अभिय्ांता विध्युत विभाग को सन 2011 मे ठाणे कि एंन्टी करप्शन विभाग ने रिश्वत लेते हुए पकडा था हाला कि यह पैसा अपने आकाओ के इशारे पर लिया गया था।अपने आकाओ को बचाने के लिए स्वय को बली चढना पडा तब के तत्कालिन आयुक्त ने एक कार्यालीन पत्र निकाल कर इन्हे पैसे के स्थान पर तथा किसी भी कर्मचारी को रिश्वत लेने पर एैसे स्थान पर नही रखने का आदेश जारी किया गया था। तब मनपा्रअस्था्र145्र 204्र 2014 15 दिनांक 20्र 5्र2014 को मनपा शासन निर्णय 14 अक्टुंबर 2011  के दिये गये निर्देशानुसार 20 फरवरी 2014 को निलंबन आढावा समिती के द्ववारा शिफारस तथा आयुक्त के 15 मई 2014 के मान्यतानुसार  श्री प्रशांत जनकर कि नियुक्ति मनपा के “घनकचरा व्यावस्थापाना” के विभाग मे कर दि थी ।
तथा  पुनः मनपा के सामान्य प्रशासनिक विभाग के पत्र क्रमांक मनपा्र सा प्र व्रि379 ्र2015 दिनांक 20 मई 2015 को पुनः सार्वजनिक बांधकाम बिभाग मे पदस्थ कर दिया गया।तब से लेकर अबतक विध्युत बिभाग मे अनेक ठेकेदारो से साठागांठ कर इनका धंधा अपने आकाओ के छत्रछाया मे खुब फलफुल रहा है. मेरा प्रशासन से विनंती है कि इस विषय पर ध्यान देते हुए इस “निमर्ल एम एम आर अभियान” मे हुए धांधली मे साबा के सभी चारो अभियंताओ से जांच कर कठोरसे कठोर कार्यवाही करे तथा शेखर इलेक्टिकल्स को ब्लैक लिस्ट करते हुए संबंधित पुलिस स्टेसन मे अधिकारीयो सहित गुन्हा दर्ज कराये।






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